हल्द्वानी। संत निरंकारी मिशन हल्द्वानी के तत्वावधान में रामपुर रोड स्थित रामबाग के खुले प्रांगण में एक विशाल सत्संग का आयोजन किया गया। इस सत्संग में दिल्ली से पधारे संत निरंकारी मिशन के ज्ञान प्रचारक महात्मा नेपाल सिंह चौधरी ने संगत को ब्रह्मज्ञान और प्रभु प्राप्ति का महत्व समझाया।
महात्मा नेपाल सिंह चौधरी ने सत्संग को संबोधित करते हुए कहा कि मनुष्य जन्म अत्यंत दुर्लभ है और सभी धर्मग्रंथ इस बात की पुष्टि करते हैं। इस जीवन का वास्तविक उद्देश्य प्रभु प्राप्ति है। उन्होंने कहा कि सद्गुरु अनादिकाल से मानव को ब्रह्मज्ञान प्रदान करते आ रहे हैं और हर इंसान को ब्रह्मज्ञान की आवश्यकता है, क्योंकि इसके बिना मनुष्य अधूरा और भ्रमों से घिरा रहता है। सद्गुरु की कृपा से ही ब्रह्मज्ञान की प्राप्ति संभव है।
उन्होंने बाबा अवतार सिंह महाराज की अवतार वाणी का उल्लेख करते हुए कहा—“भक्ति लोग अभी न समझे, प्रभु को पाना भक्ति है। तज के सारे भरम भूलेखे, गुरु रिझाना भक्ति है।”महात्मा ने कहा कि मनुष्य को प्राप्त यह अमूल्य जीवन यूं ही गवाने के बजाय ईश्वर प्राप्ति और प्रभु भक्ति में लगाना चाहिए।
उन्होंने श्रीरामचरितमानस की चौपाई—“जासु कृपा सब भरम मिट जाए। उमा सोई कृपाल रघुराई।” का उल्लेख करते हुए बताया कि सतगुरु की कृपा से ही मानव के सभी भ्रम दूर होते हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान सतगुरु माता सुदीक्षा जी महाराज भी यही संदेश देती हैं कि सतगुरु द्वारा प्रदत्त ब्रह्मज्ञान से ही मानव जीवन का उद्धार संभव है। ब्रह्मज्ञान से मनुष्य के जीवन के सारे भ्रम समाप्त होते हैं और जीवन सुखमय बनता है।
कार्यक्रम के अंत में ब्रांच संयोजक आनंद सिंह नेगी ने सत्संग में उपस्थित समस्त साध-संगत एवं सेवादल के भाई-बहनों का आभार व्यक्त किया।
