देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को बलवीर रोड स्थित भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि उत्तराखण्ड राज्य निर्माण की रजत जयंती के उपलक्ष्य में पूरे प्रदेश में रजतोत्सव समारोह धूमधाम से मनाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि 1 नवम्बर से पारंपरिक पर्व इगास के साथ रजतोत्सव का शुभारंभ हुआ है, जो 11 नवम्बर तक चलेगा। इस अवधि में प्रदेशभर में विविध सांस्कृतिक, सामाजिक और विकासोन्मुख कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी को नमन करते हुए कहा कि उन्हीं के कार्यकाल में उत्तराखण्ड को नया राज्य बनने का गौरव प्राप्त हुआ। उन्होंने कहा कि यह पूरे प्रदेशवासियों के लिए गर्व का विषय है कि उत्तराखण्ड ने 25 वर्षों में विकास की नई ऊंचाइयों को छुआ है।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा वर्ष 2047 तक विकसित भारत का जो संकल्प रखा गया है, उसी दिशा में राज्य सरकार वर्ष 2050 (स्वर्ण जयंती वर्ष) तक समृद्ध और आत्मनिर्भर उत्तराखण्ड के निर्माण के लिए नया रोडमैप तैयार करेगी। उन्होंने कहा कि रजत जयंती वर्ष केवल उत्सव नहीं, बल्कि आत्ममंथन और संकल्प का अवसर है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि रजतोत्सव के अंतर्गत 3 और 4 नवम्बर को विधानसभा का विशेष सत्र आयोजित होगा, जिसमें 3 नवम्बर को महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु विशेष सत्र को संबोधित करेंगी। उन्होंने कहा कि यह राज्य के लिए गर्व का विषय है। इसके साथ ही 9 नवम्बर को राज्य स्थापना दिवस पर आयोजित मुख्य समारोह में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का मार्गदर्शन प्राप्त होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि रजतोत्सव समारोह का केंद्रबिंदु संस्कृति, पर्यटन, युवाशक्ति, प्रवासी उत्तराखण्डी और राज्य आंदोलनकारी रहेंगे। उन्होंने कहा कि यह केवल सरकारी आयोजन नहीं, बल्कि जनभागीदारी का उत्सव है, जिसमें प्रत्येक नागरिक की भागीदारी आवश्यक है।
मुख्यमंत्री ने बीते वर्षों में राज्य सरकार की उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए कहा कि उत्तराखण्ड देश का पहला राज्य है जिसने समान नागरिक संहिता (UCC) लागू की है। इसके साथ ही भूमि कानून, धर्मांतरण विरोधी, नकल विरोधी और दंगारोधी कानून लागू कर सुशासन को सशक्त बनाया गया है। राज्य आंदोलनकारियों को सरकारी नौकरियों में 10 प्रतिशत और महिलाओं को 30 प्रतिशत आरक्षण, जबकि सहकारी समितियों में 33 प्रतिशत आरक्षण दिया गया है।
उन्होंने बताया कि पिछले चार वर्षों में 26 हजार से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरियां दी गई हैं। ग्लोबल इन्वेस्टर समिट में 3.56 लाख करोड़ रुपये के एमओयू साइन हुए, जिनमें से एक लाख करोड़ रुपये के निवेश की ग्राउंडिंग हो चुकी है। राज्य का बजट अब एक लाख करोड़ रुपये से अधिक का हो गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य की अर्थव्यवस्था का आकार 26 गुना और प्रति व्यक्ति आय 17 गुना बढ़ी है। स्वास्थ्य, महिला सशक्तिकरण और सामाजिक सुरक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य हुए हैं— 58 लाख आयुष्मान कार्ड बनाए गए हैं, मातृ मृत्यु दर में कमी आई है, लखपति दीदी योजना से 1.65 लाख महिलाएं आत्मनिर्भर बनी हैं और वृद्धावस्था पेंशन को 1500 रुपये मासिक कर दिया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि धार्मिक एवं सांस्कृतिक पर्यटन को नई दिशा देने के लिए केदारनाथ पुनर्निर्माण, बद्रीनाथ मास्टर प्लान और मानसखण्ड मंदिर माला मिशन पर तीव्र गति से कार्य जारी है। वहीं दिल्ली–देहरादून एलिवेटेड रोड और ऋषिकेश–कर्णप्रयाग रेल लाइन जैसी परियोजनाएं राज्य के विकास को नई ऊँचाई देंगी।
उन्होंने कहा कि पलायन रोकथाम और सीमांत क्षेत्रों के विकास के लिए वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम, स्मार्ट इंडस्ट्रियल टाउनशिप और मुख्यमंत्री पलायन रोकथाम योजना लागू की गई हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार का लक्ष्य आने वाले 25 वर्षों में समृद्ध, आत्मनिर्भर और सशक्त उत्तराखण्ड का निर्माण करना है।
