नैनीताल में नाबालिग से दुष्कर्म के बाद तनाव, 1984 के बाद पहली बार हिंसा की चपेट में आया शहर

खबर शेयर करें

नैनीताल। शांत और पर्यटन नगरी के रूप में पहचान रखने वाला नैनीताल बुधवार रात अचानक तनाव की चपेट में आ गया। एक नाबालिग हिंदू बालिका से मुस्लिम समुदाय के एक वृद्ध द्वारा कथित दुष्कर्म की घटना सामने आने के बाद शहर का माहौल बिगड़ गया। घटना की भनक लगते ही भारी संख्या में लोग कोतवाली के बाहर एकत्र हो गए और देखते ही देखते भीड़ उग्र हो उठी।

गुस्साई भीड़ ने मल्लीताल क्षेत्र में मुस्लिम समुदाय की दुकानों में जमकर तोड़फोड़ की। धार्मिक स्थल के पास नारेबाजी की गई और पथराव भी हुआ। मौके पर पहुंची पुलिस ने हालात काबू में करने के लिए लाठीचार्ज किया। तनाव को देखते हुए बाजार में पुलिस बल की तैनाती बढ़ा दी गई है।

यह भी पढ़ें 👉  एक्सक्लूसिव: हल्द्वानी ट्रांसपोर्ट नगर में टैक्स चोरी का सिंडिकेट धड़ल्ले से जारी, धामी सरकार के जीरो टॉलरेंस दावे पर सवाल

भीड़ ने बाजार में मचाया उत्पात
बुधवार शाम पुलिस को दुष्कर्म की सूचना मिली, जिसके बाद रात करीब साढ़े आठ बजे पीड़िता को मेडिकल परीक्षण के लिए ले जाया गया। इसी दौरान घटना की जानकारी लोगों तक पहुंची और नौ बजे तक कोतवाली के बाहर सैकड़ों की संख्या में लोग जुटने लगे।

भीड़ ने मल्लीताल में स्थित दुकानों में तोड़फोड़ की, सड़क पर खड़े वाहनों को पलटा और कई घरों पर पथराव कर शीशे तोड़ डाले। भीड़ ने एक किमी क्षेत्र में उत्पात मचाया। गाड़ी पड़ाव और मल्लीताल बाजार में अफरा-तफरी मच गई।

धार्मिक स्थल पर नारेबाजी, माहौल और तनावपूर्ण
भीड़ ने एक धार्मिक स्थल के पास भी नारेबाजी की और पत्थर फेंके। इस दौरान “पाकिस्तान मुर्दाबाद” जैसे नारे भी लगे। गुस्साए लोग पहलगाम में हुई आतंकी घटना का हवाला देते हुए प्रदर्शन करते रहे। हालात को बेकाबू होता देख पुलिस ने कई बार भीड़ को खदेड़ा।

यह भी पढ़ें 👉  मार्क कार्नी बने कनाडा के नए प्रधानमंत्री, अमेरिका पर कड़ा रुख

मुस्लिम समाज ने नहीं दी प्रतिक्रिया, तनाव सीमित रहा
घटना के बाद मुस्लिम समुदाय की ओर से किसी प्रकार की प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। यही कारण रहा कि मामला सांप्रदायिक दंगे का रूप नहीं ले सका और तनाव एकतरफा रहा। हालांकि, प्रशासन ने हालात को गंभीर मानते हुए संवेदनशील इलाकों में अतिरिक्त बल तैनात कर दिया है।

नैनीताल में 1984 के बाद पहली बार बड़ा सांप्रदायिक तनाव
स्थानीय लोगों का कहना है कि नैनीताल में इस स्तर का communal तनाव इससे पहले केवल 1984 के सिख विरोधी दंगों के समय देखने को मिला था। उस दौरान भी दुकानों में तोड़फोड़ और लूटपाट हुई थी। लेकिन हिंदू-मुस्लिम समुदायों के बीच इस तरह का टकराव पहली बार देखा गया है।

यह भी पढ़ें 👉  हादसा: चुनावी बैनर उतारते समय 33 केवी लाइन की चपेट में आया युवक, मौत

प्रशासन अलर्ट, कानून व्यवस्था बनाए रखने के प्रयास
पुलिस ने स्थिति पर काबू पाने के लिए देर रात तक गश्त जारी रखी। एसएसपी और जिलाधिकारी ने घटनास्थल का निरीक्षण किया और लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। मामले में दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की बात कही गई है।