चमोली। सिवाई क्षेत्र के मेठाणा तोक में रविवार को ग्रामीणों ने रेलवे का कार्य रुकवा दिया। अनुसूचित जाति के ग्रामीणों ने टनल के बाहर जोरदार प्रदर्शन करते हुए धरना दिया और रोजगार, मुआवज़ा, सूख चुके जल स्रोतों की बहाली तथा प्राचीन मंदिर के पुनर्निर्माण की मांग उठाई।
ग्रामीणों का आरोप है कि रेलवे परियोजना के चलते उनकी भूमि अधिग्रहित हो चुकी है, जबकि अब सुरंग में किए जा रहे विस्फोटों से उनके मकानों में दरारें पड़ रही हैं। प्रभावित ग्रामीणों ने कहा कि सरकार स्थानीय लोगों को रोजगार में प्राथमिकता देने की बात तो करती है, लेकिन कंपनी ने गांव के केवल दो युवकों को ही रोजगार दिया है।
ग्रामीणों ने यह भी बताया कि गांव का प्राचीन मंदिर आज तक नहीं बन पाया है। कई बार शिकायतें और ज्ञापन देने के बावजूद रेलवे प्रशासन की ओर से कोई कार्रवाई नहीं की गई।
आक्रोशित ग्रामीणों ने चेतावनी दी कि जब तक उनकी सभी मांगें पूरी नहीं होतीं, तब तक रेलवे कार्य नहीं होने देंगे। उधर, रेलवे अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर ग्रामीणों से वार्ता का प्रयास किया, मगर ग्रामीण अपनी मांगों पर अड़े रहे।