नैनीताल में होम स्टे के नाम पर होटल संचालन का मामला उजागर, आयुक्त दीपक रावत ने दिए सख्त कार्रवाई के निर्देश

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हल्द्वानी। नैनीताल में होम स्टे के नाम पर होटल संचालन का मामला उजागर होने पर आयुक्त एवं मुख्यमंत्री सचिव दीपक रावत ने सख्त रुख अपनाया है। शनिवार को कैम्प कार्यालय हल्द्वानी में आयोजित जनता मिलन कार्यक्रम के दौरान यह मामला सामने आया। जांच में पाया गया कि एक होम स्टे संचालक ने लीज पर भवन लेकर उसे होटल की तरह संचालित किया हुआ था।

आयुक्त ने इसे पर्यटन विभाग के नियमों का उल्लंघन बताते हुए जिला पर्यटन अधिकारी को संबंधित होटल को नोटिस जारी करने और उसका पंजीकरण निरस्त करने के निर्देश दिए। साथ ही जिले में पंजीकृत सभी होम स्टे की जांच कराने के आदेश भी दिए। उन्होंने कहा कि ऐसे अनियमित संचालन से न केवल सेवाओं की गुणवत्ता पर असर पड़ता है बल्कि ‘ब्रांड उत्तराखंड’ की साख को भी नुकसान होता है।

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जनता मिलन कार्यक्रम में आयुक्त ने विभिन्न क्षेत्रों से पहुंचे लोगों की समस्याएं सुनीं और कई मामलों का समाधान मौके पर ही किया। अधिकांश शिकायतें भूमि विवाद, मुआवजा, सड़क और बिजली जैसी जनसमस्याओं से जुड़ी रहीं।

गुसाईपुर निवासी एक व्यक्ति ने शिकायत की कि उसने करीब तीन बीघा भूमि 66.50 लाख रुपये में खरीदी थी, लेकिन विक्रेता ने न तो रजिस्ट्री की और न ही धनराशि लौटाई। इस पर पिछली जनसुनवाई के बाद आयुक्त के निर्देशों के अनुपालन में इस बार विक्रेता ने 10 लाख रुपये का चेक सौंपा और शेष राशि 31 जनवरी 2026 तक लौटाने का लिखित आश्वासन दिया।
गौलापार क्षेत्र के एक मामले में भूमि के नाम पर करीब 35 लोगों से धोखाधड़ी की शिकायत पर आयुक्त ने क्षेत्राधिकारी को आरोपी के विरुद्ध लैंड फ्रॉड एक्ट के तहत तत्काल गिरफ्तारी के निर्देश दिए।

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कार्यक्रम के दौरान एक महिला ने बताया कि कोविड काल में पति की मृत्यु के बाद उनके सभी दस्तावेज, जिनमें आधार कार्ड भी शामिल था, जल गए थे। पूर्व जनसुनवाई में दिए गए निर्देशों के बाद अब उनका नया आधार कार्ड बन गया है। महिला ने इस पर प्रशासन के प्रति आभार व्यक्त किया।

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चौसला क्षेत्र के निवासियों ने जलजीवन मिशन से जुड़ी समस्याएं रखीं, जबकि भीमताल क्षेत्र के लोगों ने अवैध पेड़ कटान की शिकायत दी। एक औषधि विक्रेता द्वारा रेडक्रॉस से संबंधित लंबित बिलों के भुगतान का मुद्दा उठाए जाने पर आयुक्त ने मुख्य चिकित्साधिकारी को तलब कर संबंधित निवर्तमान सचिव के विरुद्ध कार्यवाही के निर्देश दिए।

आयुक्त दीपक रावत ने कहा कि जनहित से जुड़े सभी मामलों में पारदर्शिता और त्वरित निस्तारण प्रशासन की प्राथमिकता है। अधिकांश शिकायतों का समाधान मौके पर ही किया गया।

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