नई दिल्ली। भारतीय वायुसेना (IAF) का एक विमान म्यांमार में राहत सामग्री पहुंचाते समय साइबर हमले का शिकार हो गया। यह घटना उस समय हुई, जब विमान ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ के तहत म्यांमार जा रहा था, जो 28 मार्च को म्यांमार और थाईलैंड में आए विनाशकारी भूकंप के बाद शुरू किया गया था। इस हमले के बावजूद वायुसेना के अनुभवी पायलटों ने साहस और सूझबूझ से इस चुनौती का सामना किया और राहत मिशन को सफलतापूर्वक पूरा किया।
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय वायुसेना के विमान को म्यांमार के हवाई क्षेत्र में अपने सैटेलाइट आधारित GPS सिग्नल में स्पूफिंग का सामना करना पड़ा। यह साइबर हमला पायलटों के लिए एक बड़ा खतरा था, क्योंकि जीपीएस स्पूफिंग पायलट को गलत निर्देश देकर उनकी वास्तविक लोकेशन के बारे में भ्रम पैदा करता है। हालांकि, IAF के पायलटों ने तत्काल अपने इनर्शियल नेविगेशन सिस्टम (INS) का उपयोग किया और मिशन को बिना किसी बड़े हादसे के सफलतापूर्वक पूरा किया।
इस घटना में म्यांमार के हवाई क्षेत्र में हुए इस साइबर हमले के मूल कारण का पता लगाना मुश्किल हो सकता है। चीन की रणनीतिक उपस्थिति को देखते हुए इस घटना की गंभीरता और बढ़ जाती है, क्योंकि यह क्षेत्र अत्यधिक संवेदनशील है।
‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ के तहत भारत ने म्यांमार और थाईलैंड में आए भूकंप के बाद त्वरित प्रतिक्रिया दिखाई थी। भारतीय सेना ने आपदा में घायल लोगों के इलाज के लिए 60 बिस्तरों वाला चिकित्सा केंद्र स्थापित किया, जो आपातकालीन सर्जरी, ट्रामा उपचार और अन्य आवश्यक चिकित्सा सेवाओं को प्रदान करेगा। अब तक, भारत म्यांमार को 15 टन से अधिक राहत सामग्री भेज चुका है।